10 बच्चों की मां ने आशिक के साथ मिलकर बेटे को मार डाला, बन रहा था रास्ते का कांटा
रिपोर्ट जावेद हुसैन
दिल्ली। पूर्वी दिल्ली के न्यू अशोक नगर इलाके में मां के अवैध संबंधों का विरोध करना एक बेटे को भारी पड़ गया। 10 बच्चों की मां ने आशिक के साथ मिलकर 30 वर्षीय बेटे के सिर पर ईंट से वारकर उसे मौत के घाट उतार दिया। मृतक की शिनाख्त रविंद्र (30) के रूप में हुई। हत्या के बाद मां व उसके आशिक ने रविंद्र की मौत को हादसे का रंग भी देने का प्रयास किया, लेकिन एंबुलेंसकर्मी को शक होने पर दोनों का भेद खुल गया। पुलिस ने मां सुभद्रा देवी (51) और उसके आशिक अजीत (25) को हिरासत में ले लिया है। वारदात के समय दोनों बुरी तरह शराब के नशे में धुत थे और ठीक से बातचीत भी नही कर पा रहे थे। आरोपी अजीत मृतक रविंद्र का ही दोस्त है।
मूलरूप से बस्ती, यूपी का रहने वाला रविंद्र मां सुभद्रा देवी और दोस्त अजीत के साथ किराए के कमरे में न्यू अशोक नगर में रहता था। रविंद्र पेशे से चालक था। रविंद्र के परिवार में मां के अलावा आठ बहनें, तीन माह का भाई और पिता ब्रह्मदेव हैं। पिता गांव में ही रहता है। भाई-बहनों में रविंद्र सबसे बड़ा था और शादीशुदा था। लेकिन पत्नी से विवाद होने के कारण वह उससे अलग रहता था। रविंद्र के ही गांव का रहने वाला उसका दोस्त अजीत भी इनके साथ कमरे पर रहता था। अजीत रिक्शा चलाता था। करीब एक सप्ताह पूर्व तक रविंद्र व उसकी मां नोएडा सेक्टर-15 में किराए पर रहते थे, बाद में वह न्यू अशोक नगर आ गए।
रविवार सुबह पुलिस को एक एंबुलेंस वाले से सूचना मिली कि खून से लथपथ एक युवक का शव पहली मंजिल स्थित कमरे में पड़ा हुआ है। पुलिस ने मौके से शव कब्जे में लेकर पोस्टमार्टम के लिए भेजा। पुलिस को कमरे से एक गमछा और खून से सनी ईंट बरामद हुई। इस बीच आजादपुर में रहने वाली रविंद्र की बहन वहां पहुंच गई। उसने पुलिस को मां और उसके आशिक के बारे में बताया। पुलिस ने छानबीन के बाद रविंद्र की मां और उसके आशिक अजीत को हिरासत में ले लिया।
शनिवार रात को कर दी हत्या
पूछताछ के दौरान सुभद्रा और अजीत ने बताया कि शनिवार रात को 9 बजे रविंद्र घर पहुंचा और उसने अपनी मां को अजीत के साथ गलत अवस्था में देख लिया। विरोध करने पर दोनों रविंद्र से झगड़ा करने लगे। इस दौरान आरोपियों ने गमछे से गला घोंटकर और ईंट से सिर पर वारकर रविंद्र को मौत के घाट उतार दिया। वारदात के दौरान सुभद्रा को तीन माह का बेटा भी वहीं मौजूद था। पुलिस दोनों से पूछताछ कर मामले की छानबीन कर रही है।
मां और उसका आशिक रातभर रहे शव के साथ…
रविंद्र को मौत के घाट उतारने के बाद सुभद्रा और अजीत रातभर शव के साथ रहे। शराब के नशे में भी उन्होंने हत्या को दुर्घटना बनाने की योजना बनाई। दोनों शव को कमरे में छोड़कर पास ही नोएडा बार्डर पर गए। वहां जाकर दोनों ने एंबुलेंस को कॉल कर दी। एंबुलेंस वाला घर पहुंचा तो उसे शक हुआ। उसने पुलिस को सूचना दे दी। इधर सुभद्रा और अजीत मौके से फरार हो गए। बाद में पुलिस ने दोनों को हिरासत में ले लिया।
रविंद्र करता था अजीत व मां के संबंधों का विरोध
बेटा रविंद्र अपनी मां व दोस्त अजीत के रिश्ते का विरोध करता था। यहां तक उसकी सभी बहनें भी इसके खिलाफ थी, लेकिन सुभद्रा कभी अजीत से संबंध खत्म नही करना चाहती थी। परिजनों का कहना था कि अजीत से सुभद्रा को बच्चा भी हुआ था। तीन माह का उसका बेटा अजीत का ही था। रविंद्र की बहन ने आरोप लगाया है कि इसी वजह से उसकी मां ने उसके भाई की हत्या कर दी।